
बुधवार को सुप्रीम कोर्ट में न्यायमूर्ति संजीव खन्ना और न्यायमूर्ति एस.वी.एन भट्टी की पीठ ने दिल्ली के पूर्व डिप्टी सीएम आप नेता मनीष सिसौदिया की ओर से दायर की गई दो विशेष अनुमति याचिका (आपराधिक) पर सुनवाई की। याचिका पर सुनवाई करते हुये पीठ ने सीबाआई और ईडी ने पूछा कि कथित तौर पर लाभार्थी होने के बाद भी राजनीतिक दल को मनी लॉन्ड्रिंग की रोकथाम (prevention of money laundering) के तहत मामले में आरोपी क्यों नहीं बनाया गया है। मनीष सिसौदिया ने जमानत देने से इनकार करने वाले दिल्ली हाईकोर्ट के आदेश को सुप्रीम कोर्ट में चुनौती दी थी। सिसोदिया के खिलाफ दिल्ली शराब नीति संबंधिेत कथित घोटोले में केंद्रीय जांच ब्यूरो और प्रवर्तन निदेशालय ने दो अलग अलग मामले दर्ज किये हैं, इसी मामले को लेकर दिल्ली के पूर्व डिप्टी सीएम सिसौदिया जेल में है।
सिसौदिया का वरिष्ठ वकील सिंघवी ने रखा पक्ष
मनीष सिसौदिया की दो विशेष अनुमति याचिका (आपराधिक) की ओर से पक्ष रखते हुये वरिष्ठ अधिवक्ता अभिषेक मनु सिंघवी ने दोनों मामलों में सिसोदिया के लिए जमानत की मांग करते हुये करीब दो घंटे से अधिक समय तक पीठ के समक्ष पक्ष रखा। जिसमें सीबीआई भ्रष्टाचार निवारण अधिनियम के तहत आरोपों की जांच कर रही है। वहीं ईडी धन शोधन निवारण अधिनियम के तहत मनी लॉन्ड्रिंग मामले को देख रही है। आरोप राष्ट्रीय राजधानी दिल्ली सरकार द्वारा 2021 में बनाई गई उत्पाद शुल्क नीति से संबंधित हैं, जिसे बाद में कार्यान्वयन में अनियमितताओं के आरोप लगने के बाद वापस ले लिया गया था।
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जस्टिस खन्ना ने एएसजी से पूंछा सवाल
मनीष सिसौदिया की याचिका पर सुनवाई करने वाले न्यायमूर्ति संजीव खन्ना ने प्रवर्तन निदेशालय और सीबीआई की ओर से पेश हुये अतिरिक्त सॉलिसिटर जनरल एस.वी राजू से पूछा, “जहां तक मनी लॉन्ड्रिंग की रोकथाम (prevention of money laundering) का सवाल है, आपका पूरा मामला यह है कि यह एक राजनीतिक दल के पास गया था। वह राजनीतिक दल अभी भी आरोपी नहीं है। आप इसका उत्तर कैसे देंगे? वह लाभार्थी नहीं है, राजनीतिक दल लाभार्थी है।”
एएसजी मे नहीं दिया सवाल का जबाब
जिस पर अतिरिक्त सॉलिसिटर जनरल एस.वी राजू ने कहा कि वह इस सवाल का जवाब कल देंगे। न्यायमूर्ति खन्ना ने बुधवार को सुनवाई करते हुए कहा ,”जो कुछ भी है, आप इसका उत्तर दें। मैंने सिर्फ सवाल रखा है। यह वह मुद्दा नहीं है, जिसे सिसोदिया की ओर से पेश हुये वरिष्ठ अधिवक्ता अभिषेक मनु सिंघवी ने सीधे तौर पर उठाया है। मैंने इसे सीधे तौर पर रखा है।”
26 फरवरी से जेल में है पूर्व डिप्टी सीएम
बता दे कि दिल्ली के लेफ़्टिनेट गवर्नर विनय कुमार सक्सेना की शिकायत पर केंद्रीय गृह मंत्रालय के संदर्भ के बाद सीबीआई ने शराब नीति की जांच शुरू की थी। आप नेता मनीष सिसौदिया को पहली बार सीबीआई ने 26 फरवरी को गिरफ्तार किया था और तब से वह सलाखों के पीछे हैं। बाद में प्रवर्तन निदेशालय ने उन्हें इसी साल 9 मार्च को गिरफ्तार कर लिया।