Wednesday, July 30, 2025
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इलाहाबाद हाईकोर्ट में हुई सरयू ट्रेन घटना की सुनवाई, कोर्ट ने जूरिडिक्शनल मजिस्ट्रेट को महिला सिपाही का बयान दर्ज करने का दिया आदेश

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इलाहाबाद उच्च न्यायालय (हाईकोर्ट) के मुख्य न्यायाधीश प्रीतिंकर दिवाकर और न्यायमूर्ति आशुतोष श्रीवास्तव की पीठ ने यूपी के अयोध्या जा रही सरयू एक्सप्रेस में महिला सिपाही से की गई दरिंदगी के मामले में जूरिडिक्शनल मजिस्ट्रेट को आदेश दिया है कि वह अस्पताल जाकर घायल महिला सिपाही का बयान दर्ज करे। महिला सिपाही का बयान महत्वपूर्ण साक्ष्य साबित हो सकता है और जांच में भी महिला सिपाही के बयान से मदद मिल सकती है। इस आदेश के बाद इस केस की सुनवाई की अगली तारीख 13 सितंबर नियत की गई है।

मुख्य न्यायाधीश प्रीतिंकर दिवाकर

सोमवार को मुख्य न्यायाधीश प्रीतिंकर दिवाकर और न्यायमूर्ति आशुतोष श्रीवास्तव की पीठ ने सुनवाई करते हुये कहा “हमें कोई संदेह नहीं है, मामले की जांच की कार्रवाई सही दिशा में चल रही है और जल्द ही इसका रिजल्ट सामने होगा”, फिर भी जो घायल महिला सिपाही है, उसका बयान सीआरपीसी 161 और सीआरपीसी 164 के तहत दर्ज नहीं किया गया है, जबकि यह एक महत्वपूर्ण साक्ष्य साबित हो सकता है। जांच में भी महिला सिपाही के बयान से मदद मिल सकती है। महिला के बयान से जांच की दिशा भी तय हो सकती है।

ज्ञात हो कि यूपी के अयोध्या जा रही सरयू एक्सप्रेस में एक महिला कांस्टेबल से दरिंदगी की गई थी, इस दिल दहला देने वाली घटना का इलाहाबाद उच्च न्यायालय (हाईकोर्ट) ने 3 सितंबर रविवार को स्वत: संज्ञान लिया था। मुख्य न्यायाधीश प्रीतिंकर दिवाकर की पीठ ने एक पीआईएल दाखिल कर यूपी सरकार और रेलवे से जानकारी तलब की थी, जिसके बाद पुलिस अधीक्षक राजकीय रेलवे लखनऊ और यूपी सरकार ने इलाहाबाद हाईकोर्ट को बताया था कि जांच जारी है और टीमों का गठन किया गया है, जो मामले की छानबीन कर रही हैं। जांच से कोर्ट संतुष्ट नजर आई थी।

वही सोमवार को कोर्ट में रेलवे के अधिकारियों द्वारा बताया कि अभी तक की जांच रिपोर्ट्स के आधार पर यह कहना कठिन है कि महिला सिपाही के साथ रेप हुआ है, चेहरे और शरीर पर चोट के निशान जरूर है जो किसी धारदार हथियार के हैं। पुलिस अधिकारियों ने कोर्ट को अभी बताया कि अयोध्या रेलवे स्टेशन के चारों तरफ 10 किलोमीटर तक छानबीन की जा रही है हथियार भी तलाशा जा रहा है, जिससे महिला पर हमला किया गया। ट्रेन के एस्कॉर्ट गार्ड वेंडर्स का क्षेत्र 161 सीआरपीसी के तहत बयान दर्ज किया गया है। सीसीटीवी फुटेज भी कंगाल जा रहा है इसके अलावा फॉरेंसिक एविडेंस भी कलेक्ट किए गए हैं। रेलवे के अधिकारियों द्वारा दी गई दलील को सुनने के बाद सिक्योरिटी और कोर्ट ने 13 सितंबर को सुनवाई की अगली तारीख तय कर दी है। फिलहाल कोर्ट ने पांच सदस्य मेडिकल टीम को आदेश दिया है कि महिला की सही से जांच कर एक विस्तृत रिपोर्ट अगली तारीख को कोर्ट में प्रस्तुत करें।

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